Prayagraj News : जस्टिस राजेश बिंदल, मुख्य न्यायाधीश इलाहाबाद हाईकोर्ट।
– फोटो : prayagraj
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कलकत्ता हाईकोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायमूर्ति राजेश बिंदल इलाहाबाद हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किए गए हैं। यह नियुक्ति
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने की है। इस आशय की अधिसूचना भारत सरकार के अपर सचिव राजिंदर कश्यप ने जारी की है।
हरियाणा के अंबाला शहर में हुआ था जन्म
हरियाणा के अबाला शहर में एक सामान्य परिवार में पैदा होने वाले जस्टिस बिंदल का जन्म 16 अप्रैल 1960 को हुआ था। इन्होंने 1985 में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय से कानून की डिग्री प्राप्त की थी। उन्होंने एक अधिवक्ता के रूप में करियर की शुरुआत सितंबर 1985 में पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय से की। इनके पास करीब 80 हजार मामलों के निस्तारण का भी अनुभव है।
जस्टिस राजेश बिंदल 22 मार्च 2006 को पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट में बतौर जस्टिस कार्यभार ग्रहण किया था। 2016 में हुए मुख्य न्यायाधीशों के सम्मेलन में इलेक्ट्रॉनिक्स के लिए मसौदा नियम तैयार करने के लिए भी जो समिति गठित की गई थी उसके अध्यक्ष रहे।
इसके साथ ही साथ अंतरराष्ट्रीय बाल अपहरण विधेयक 2016 के नागरिक पहलुओं का अध्ययन करने के लिए उन्होंने सिफारिशों और मसौदे के साथ रिपोर्ट प्रस्तुत की थी। वर्तमान में वह जम्मू और कश्मीर हाईकोर्ट में वित्त समिति, भवन और अवसंरचना समिति, सूचना प्रौद्योगिकी समिति, राज्य न्यायालय प्रबंधन प्रणाली समिति के अध्यक्ष और जम्मू और कश्मीर राज्य कानूनी सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष भी हैं।
कलकत्ता हाईकोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायमूर्ति राजेश बिंदल इलाहाबाद हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किए गए हैं। यह नियुक्ति
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने की है। इस आशय की अधिसूचना भारत सरकार के अपर सचिव राजिंदर कश्यप ने जारी की है।
हरियाणा के अंबाला शहर में हुआ था जन्म
हरियाणा के अबाला शहर में एक सामान्य परिवार में पैदा होने वाले जस्टिस बिंदल का जन्म 16 अप्रैल 1960 को हुआ था। इन्होंने 1985 में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय से कानून की डिग्री प्राप्त की थी। उन्होंने एक अधिवक्ता के रूप में करियर की शुरुआत सितंबर 1985 में पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय से की। इनके पास करीब 80 हजार मामलों के निस्तारण का भी अनुभव है।
जस्टिस राजेश बिंदल 22 मार्च 2006 को पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट में बतौर जस्टिस कार्यभार ग्रहण किया था। 2016 में हुए मुख्य न्यायाधीशों के सम्मेलन में इलेक्ट्रॉनिक्स के लिए मसौदा नियम तैयार करने के लिए भी जो समिति गठित की गई थी उसके अध्यक्ष रहे।
इसके साथ ही साथ अंतरराष्ट्रीय बाल अपहरण विधेयक 2016 के नागरिक पहलुओं का अध्ययन करने के लिए उन्होंने सिफारिशों और मसौदे के साथ रिपोर्ट प्रस्तुत की थी। वर्तमान में वह जम्मू और कश्मीर हाईकोर्ट में वित्त समिति, भवन और अवसंरचना समिति, सूचना प्रौद्योगिकी समिति, राज्य न्यायालय प्रबंधन प्रणाली समिति के अध्यक्ष और जम्मू और कश्मीर राज्य कानूनी सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष भी हैं।
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