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UP Election 2022 : बरेली के लोग इस बार किसे देंगे वोट? चाय पर चर्चा में खुलकर रखी बातें

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विधानसभा चुनाव 2022 में नाथ नगरी और आला हजरत के आस्था का केंद्र माने जाने वाले बरेली में क्या होगा? इस बार यहां के लोगों के लिए चुनाव में क्या मुद्दे होंगे? धर्म, जाति या मजहब के नाम पर वोट पड़ेंगे या विकास की बात होगी?

उत्तर प्रदेश की योगी सरकार के पिछले साढ़े चार साल के कार्यकाल में बरेली कितना बदल पाया है? महिला सुरक्षा, रोजगार के मुद्दों पर यहां के लोग क्या कहते हैं? इन सभी सवालों के जवाब  के लिए चुनावी रथ ‘सत्ता का संग्राम’ बरेली पहुंच चुका है। यहां सुबह गांधी उद्यान के बाहर टी स्टॉल पर आम नागरिकों संग ‘चाय पर चर्चा’ हुई। बड़ी संख्या में जुटे लोगों ने खुलकर चुनावी मुद्दों पर चर्चा की। बताया कि इस बार वो क्या सोचकर वोट करेंगे?
अनूप ने कहा कि सड़कें बहुत खराब हैं। गड्डों के चलते कई तरह की दुर्घटनाएं हो रहीं है। बेरोजगारी बहुत ज्यादा है। कोई भी नया उद्योग नहीं आया है। इस बार विकास के मुद्दों पर ही युवा वर्ग वोट करेगी। पूरे शहर में जाम की समस्या बहुत ज्यादा है।

आर्मी से रिटायर्ड आरडी गुप्ता ने अनूप के दावे को खारिज कर दिया। कहा कि पूरे जिले में काफी विकास हुआ है। सड़कें चौड़ी हुई हैं। मौजूदा सरकार ने काफी काम किया है। इसलिए जिसने विकास किया है उसे ही वोट करेंगे।

व्यापारी विशाल मेहरोत्रा ने कहा कि पूरे जिले में विकास कार्य तेजी से हुए हैं। अभी भी काम जारी है, इसलिए सड़कें थोड़ी अस्त-व्यस्त हो गई हैं। जब विकास के काम होंगे तब थोड़ी बहुत तकलीफ उठानी ही पड़ेगी। कोरोनाकाल में भी मौजूदा सरकार ने बहुत अच्छा काम किया है। इसलिए व्यापारियों ने ये मुहिम चलाई है कि चुनाव में उन्हीं को वोट करेंगे जिन्होंने आम जनता के लिए काम किया है।

उद्यमी अतुल कपूर ने कहा कि कई फ्लाईओवर बने हैं। सीवर की लाइन पड़ी है। हर सड़क पर लाइटें लग गई हैं। स्मार्ट सिटी को लेकर काफी तेजी से काम हो रहा है। आने वाले दिनों में काफी अच्छा हो जाएगा।

अमन रस्तोगी ने कहा कि ब्यूटीफिकेशन का काम काफी हुआ है। चारों तरफ वॉल पेंटिग हुई है। चौराहों को सजा दिया गया है। पहले गंदगी बहुत होती थी, अब बहुत अच्छा लगने लगा है। मौजूदा सरकार ने बहुत अच्छा काम किया है। गांवों में बिजली, सड़कें, पानी, गैस सिलेंडर की सुविधा काफी बेहतर हुई है।
एलएलबी, बीएड कर चुके मधुनेश यादव ने कहा कि जिले में रोजगार ही नहीं है। फॉर्म भरते हैं लेकिन वैकेंसी नहीं आती है। बड़ी संख्या में युवा बेरोजगार घूम रहे हैं। अनूप ने कहा कि युवा बढ़ती बेरोजगारी से परेशान हैं। कोई नई फैक्ट्री यहां नहीं लगी। जो पुरानी थी, वो अब बंद हो चुकी है।

व्यापारी विशाल मेहरोत्रा ने कहा बरेली स्मार्ट सिटी के रूप में उभर रही है। आईआईटी पार्क और टेक्सटाइल पार्क यहां प्रस्तावित है। इसके लिए बजट पास हो चुका है। रोजगार के मुद्दे पर अमन ने कहा कि सरकारी नौकरी सबको नहीं मिलती है। लोगों को स्वरोजगार की तरफ बढ़ना चाहिए। इसके लिए सरकार काफी कोशिश कर रही है।

राजीव खुराना ने कहा कि बंद हो चुके उद्योगों को फिर से शुरू करवाना चाहिए। इससे रोजगार की संभावनाएं बढ़ेंगी। आर्मी से रिटायर्ड आरडी गुप्ता ने कहा कि अगर काम करने की क्षमता और योग्यता हो तो रोजगार की बिल्कुल कमी नहीं है। काम करने वालों की कमी है।
प्राइवेट जॉब करने वाली दीक्षा ने कहा कि सरकार ने काफी अच्छा काम किया है। फ्लाईओवर बने हैं। साफ-सफाई की व्यवस्था पहले के मुकाबले काफी बेहतर हुई है। सोनल ने कहा कि उज्जवला योजना के तहत लोगों को गैस सिलेंडर मिल रहे हैं, लेकिन जरूरतमंदों तक सही से नहीं पहुंच रहे। पहले के मुकाबले विकास के काफी काम हुए हैं। स्टेशन काफी बेहतर हुए हैं। सुविधाएं बढ़ गई हैं।

विधानसभा चुनाव 2022 में नाथ नगरी और आला हजरत के आस्था का केंद्र माने जाने वाले बरेली में क्या होगा? इस बार यहां के लोगों के लिए चुनाव में क्या मुद्दे होंगे? धर्म, जाति या मजहब के नाम पर वोट पड़ेंगे या विकास की बात होगी?

उत्तर प्रदेश की योगी सरकार के पिछले साढ़े चार साल के कार्यकाल में बरेली कितना बदल पाया है? महिला सुरक्षा, रोजगार के मुद्दों पर यहां के लोग क्या कहते हैं? इन सभी सवालों के जवाब  के लिए  चुनावी रथ ‘सत्ता का संग्राम’ बरेली पहुंच चुका है। यहां सुबह गांधी उद्यान के बाहर टी स्टॉल पर आम नागरिकों संग ‘चाय पर चर्चा’ हुई। बड़ी संख्या में जुटे लोगों ने खुलकर चुनावी मुद्दों पर चर्चा की। बताया कि इस बार वो क्या सोचकर वोट करेंगे?