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आगरा मेट्रो प्रोजेक्ट का एक साल: 365 दिन में खड़ा हुआ तीन मेट्रो स्टेशन का ढांचा, आज के दिन प्रधानमंत्री ने किया था शिलान्यास

आगरा में मेट्रो का कार्य शुरू हुए मंगलवार को एक साल पूरा हो गया। 365 दिनों में ताज पूर्वी गेट, बसई और फतेहाबाद रोड मेट्रो स्टेशन का ढांचा खड़ा हो चुका है। करीब 50 फीसदी सिविल कार्य हो गए हैं। अधिकारियों का कहना है कि वर्ष 2022 में 273 करोड़ रुपये से निर्माणाधीन एलिवेटेड सेक्शन का काम पूरा हो जाएगा। विगत 7 दिसंबर, 2020 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिल्ली से बटन दबाकर आगरा मेट्रो प्रोजेक्ट का वर्चुअल शिलान्यास किया था। प्रधानमंत्री कार्यालय से प्रोजेक्ट की समीक्षा हो रही है। एक साल के कार्यों पर सोमवार को उत्तर प्रदेश मेट्रो रेल कॉरपोरेशन यूपीएमआरसी के प्रबंध निदेशक कुमार केशव ने टीम को बधाई दी। उन्होंने कहा कि ये एक साल बेमिसाल रहा। फतेहाबाद रोड पर 3.2 किमी. का एलिवेटेड सेक्शन निर्माणाधीन है। इसमें तीन स्टेशन होंगे। आगरा प्रोजेक्ट डायरेक्टर अरविंद राय ने बताया कि 7 दिसंबर, 2022 तक तीनों स्टेशन का काम पूर्ण हो जाएगा। तब हम भूमिगत मेट्रो स्टेशन बनाने का कार्य कर रहे होंगे। यूपीएमआरसी ने सेम इंडिया बिल्टवेल को एलिवेटेड सेक्शन बनाने का कार्य सौंपा है।

मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए पिलर, पिलर कैप, कॉन्कॉर्स बीम, हॉरिजेंटल बीम, टी-गर्डर, यू गर्डर का निर्माण बमरौली कटारा स्थित कास्टिंग यार्ड में हो रहा है। यहां पहले कॉन्क्रीट का ढांचा प्री-कास्ट किया जाता है। फिर इसे ट्रक की मदद से साइट पर पहुंचाया जाता है। साइट पर क्रेन की मदद से प्री-कास्ट ढांचे को कॉरिडोर व स्टेशन पर रखा जा रहा है।

पीएसी मैदान में 112 करोड़ रुपये से मेट्रो डिपो का निर्माण तेज गति से चल रहा है। करीब आठ एकड़ में बन रही इस डिपो में मेट्रो कोच के लिए वर्कशॉप, कंट्रोल रूम, टेस्टिंग ट्रैक, वॉशिंग प्लांट व अन्य सुविधाएं विकसित की जा रही हैं। यहां 60 फीसदी काम हो चुका है। जून 2022 तक कार्यदायी संस्था लीसा इंजीनियर्स को डिपो का निर्माण पूरा करना है।

ताजनगरी में मेट्रो के लिए दो कॉरिडोर बनेंगे। सिकंदरा से ताज पूर्वी गेट तक पहला कॉरिडोर 14 किमी. लंबा होगा। जिसमें छह एलिवेटेड व सात भूमिगत सहित कुल 13 मेट्रो स्टेशन होंगे। कैंट रेलवे स्टेशन से कालिंदी विहार तक दूसरा कॉरिडोर 15.4 किमी. लंबा होगा। जिसमें 14 स्टेशन बनेंगे। सभी स्टेशन एलिवेटेड होंगे। पूरे प्रोजेक्ट पर यूपीएमआरसी करीब 8,384 करोड़ रुपये खर्च करेगा।

365 दिन में हुए ये काम

– 684 पाइल में से 663 खोदी जा चुकी हैं।

– 171 पाइल कैप में से 148 पाइल कैप बन चुकी हैं।

– 171 पिलर में से 132 पिलर बन चुके हैं।

– 196 यू गर्डर रखे जाने हैं। 16 रखे गए, 48 प्री कास्ट हो चुके हैं।

– 144 डबल टी गर्डर में से 125 डबल टी गर्डर रखे जा चुके हैं।