Lok Shakti

Nationalism Always Empower People

विधानसभा चुनाव: आगरा में ड्यूटी कटवाने की जोर-आजमाइश, बाईपास सर्जरी हो चुकी है, कैसे करूंगी चुनाव ड्यूटी

Default Featured Image

आगरा में शनिवार दोपहर एक बजे, कलक्ट्रेट स्थित एनआईसी के बराबर से जिलाधिकारी सभाकक्ष के बाहर हाथों में प्रार्थनापत्र लेकर महिलाएं व पुरुष खड़े थे। खिड़की के अंदर बैठे तीन बाबू आवेदन ले रहे थे। खिड़की पर खड़ी 56 वर्षीय मधुरिमा देवी बाबू से बोलीं- सर, मेरी बाईपास सर्जरी हो चुकी है… मैं चुनाव ड्यूटी कैसे करूंगी। बाबू बोला- कब हुई थी सर्जरी। महिला ने कहा, दो साल पहले। बाबू ने कहा, फॉर्म जमा करा दो, मेडिकल बोर्ड बैठेगा वो तय करेगा कि ड्यूटी कटेगी या नहीं।

विधानसभा चुनाव में ड्यूटी कटवाने के लिए शनिवार को कलक्ट्रेट स्थित जिलाधिकारी सभाकक्ष में 130 आवेदन जमा हुए हैं। करीब 26 हजार कार्मिकों की ड्यूटी लगेगी। 24 व 25 जनवरी को प्रशिक्षण होगा। प्रशिक्षण से गैर हाजिर कार्मिकों के विरुद्ध एफआईआर दर्ज कराने की चेतावनी दी गई है। ऐसे में ड्यूटी में अक्षम कर्मचारी चुनाव ड्यूटी कटवाने के लिए कलक्ट्रेट में भटक रहे हैं।

फतेहाबाद से आई प्रीति ने बताया कि उनका दो साल का बेटा बीमार है। घर में कोई देखभाल करने वाला नहीं। रोहता से आईं ममता ने बताया कि 9 फरवरी को मेरी शादी है। चुनाव में ड्यूटी आ गई है। ताजगंज निवासी मनोज क्षेत्र में बूथ लेवल ऑफिसर (बीएलओ) हैं, उनकी मतदान में दोबारा ड्यूटी लगा दी गई है। मनोज ने शिकायत दर्ज कराई कि एक कर्मचारी दो जगह ड्यूटी कैसे कर सकता है।

शाहगंज निवासी ऊषा और हरीश दोनों शिक्षक हैं। दोनों की चुनाव में ड्यूटी लगी है। एक साल का छोटा बच्चा है। हरीश ने बताया कि पति-पत्नी दोनों में से किसी एक को छूट मिलनी चाहिए। चुनाव ड्यूटियां लापरवाही से लगाई गई हैं। वहीं, सिकंदरा निवासी गोपाल सिंह का कहना है कि मेरी पत्नी एक महीने से सीसीएल (मातृत्व अवकाश) पर है फिर भी उसकी ड्यूटी चुनाव में लगा दी गई है। ड्यूटी कटवाने के लिए शनिवार को तमाम लोग अपने चिकित्सा प्रमाणपत्र, मरीज व दुधमुंहे बच्चों को लेकर कलेक्ट्रेट पहुंचे थे।

– लाठी के सहारे खिसकते हुए यहां तक आई हूं। मेरे पैर में चोट है। पिछले महीने दुर्घटना हो गई थी। इस हालत में मैं कैसे ड्यूटी कर सकती हूं। ड्यूटी कटवाने के लिए यहां आई हूं। – रश्मि सिंह, शिक्षका

मुझे पिछले साल लकवा मार गया था। शरीर का एक  तरफ का हिस्सा काम नहीं करता। हाथ-पैर तक नहीं हिला पाती। चुनाव में ड्यूटी आ गई है। कटवाने के लिए यहां आना पड़ा है। – सुनीता देवी, शिक्षका