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वन संवर्धन के कार्य को बढ़ावा देने जोर

प्रदेश के वन विद्यालय जगदलपुर में आज 78 वें दीक्षांत समारोह का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के तौर पर अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक श्री तपेश झा ने प्रशिक्षण प्राप्त सभी वनरक्षकों को वन और वन्य प्राणियों की रक्षा और संवर्धन की जिम्मेदारी को पूरा करने के लिए प्रेरित किया।
उन्होंने कहा कि यहां प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले वन रक्षकों ने बहुत अच्छा प्रदर्शन किया है। यहां प्रशिक्षण में बेहतर प्रदर्शन के आधार पर वे कार्यक्षेत्र में भी निरंतर बेहतर से बेहतर कार्य करें। उन्होंने वन संवर्धन के कार्य को मिल-जुलकर करने पर जोर दिया। यहां प्रशिक्षण के दौरान मिली अनुशासन की आदत को अपने जीवन में सदैव आत्मसात रखने की अपील की।
इस अवसर पर मुख्य वन संरक्षक श्री मोहम्मद शाहिद ने कहा कि यहां मिले प्रशिक्षण के बाद स्वयं मंे आए अंतर को भली-भांति अनुभव किया जा सकता है। उन्होंने वन रक्षकों को विभाग की नींव बताते हुए कहा कि उनके कार्यों के आधार पर ही पूरे विभाग की छवि का निर्माण होगा, इसलिए वन रक्षकों के पास बहुत बड़ी जिम्मेदारी है। उन्होंने आशा व्यक्त करते हुए कहा कि यहां मिले प्रशिक्षण को सभी वन रक्षक अपने-अपने कार्यक्षेत्र में निपुणता के साथ परीणित करेंगे। उन्होंने बताया कि यह पहला अवसर है, जब 12 महिला वन रक्षकों सहित सभी 37 वन रक्षकों ने निर्धारित समय के भीतर अपना प्रशिक्षण पूर्ण किया। इसके साथ ही यहां आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रम के दौरान भी सभी प्रशिक्षुओं ने कुशल कलाकारों की तरह प्रदर्शन किया।
 मुख्य वन संरक्षक, वन्य प्राणी श्री ए.के. श्रीवास्तव ने वानिकी को एक वृहद विषय बताते हुए कहा कि इसमें सीखने की अनंत संभावनाएं हैं। वन विद्यालय की संचालक श्रीमती दिव्या गौतम ने प्रशिक्षण सत्र के संबंध में जानकारी दी। इस अवसर पर प्रतिभागियों को प्रमाण पत्र सहित खेल-कूद में उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए ट्रॉफी देकर सम्मानित किया गया।