आगरा में अवैध कब्जों की भेंट चढ़े 11 तालाब पुनर्जीवित होंगे। इनसे अवैध निर्माण और कब्जे हटेंगे। पुराने स्वरूप में लौटने के आदेश एडीएम प्रशासन अजय कुमार सिंह ने सदर व एत्मादपुर तहसील के एसडीएम को दिए हैं। 11 तालाबों की सूची सौंपते हुए कार्रवाई के आदेश दिए हैं। साथ ही की गई कार्रवाई से अवगत कराने के लिए कहा है।
जिले की छह तहसीलों में 3742 तालाब राजस्व रिकॉर्ड में दर्ज हैं, लेकिन मौके पर तालाब पाटकर वहां अवैध निर्माण खड़े हो गए हैं। कहीं मंदिर, तो कहीं धर्मशाला बन गई है। बहुमंजिला इमारतें खड़ी हो गई हैं। पानी की टंकी से लेकर पंपिंग स्टेशन व मकान बन गए हैं। जिलाधिकारी प्रभु एन सिंह के आदेश पर ऐसे 11 तालाबों की सूची एडीएम प्रशासन ने तहसीलों को भेजी है।
इन पर हुए निर्माणों की फोटो व वीडियोग्राफी व अन्य साक्ष्य एकत्र कर राजस्व विभाग इन्हें कब्जा मुक्त कराएगा। एडीएम प्रशासन अजय कुमार सिंह ने बताया कि 15 दिन में दोनों एसडीएम को की गई कार्रवाई से अवगत कराना है। निरीक्षण कर सार्वजनिक उपयोग के तालाबों को उनके पुराने स्वरूप में विकसित किया जाएगा।
इन तालाबों की होगी जांच
जगनपुर खसरा 441 में रकवा 0.1040 हेक्टेयर का तालाब है। पानी की टंकी बनी है। आंशिक भाग में रास्ता बना है।
गैलाना खसरा 82 रकवा 0.0810 हेक्टेयर का तालाब है। आधा तालाब समतल है, आधे भाग में रास्ता बना हुआ है।
घटवासन खसरा 110 रकबवा 0.880 में तालाब है। तालाब भूमि पर पक्का निर्माण हो गया। पंचायत घर बना हुआ है।
मौजा चक खसरा 5 रकवा 0.0700 हेक्टेयर तालाब पर निजी विद्यालय बन गया। आसपास पक्के मकान बन गए हैं।
बोदला खसरा 857 में रकवा 0.810 हेक्टेयर में तालाब को पाटकर भूमाफिया ने पक्के मकान व अन्य निर्माण किए हैं।
नारायच खसरा 2107 में रकवा 0.3680 हेक्टेयर में तालाब भूमि पर डूडा के अनुदान से पक्के मकान बन गए हैं।
सिकंदरा खसरा 476 में रकवा 0.0580 हेक्टेयर में चौपाल, पक्के निर्माण हैं। 50 साल से अवैध कब्जे बरकरार हैं।
ककरैठा में खसरा 517 में रकवा 0.0580 हेक्टेयर में पक्के मकान बन गए हैं, मामला सिविल कोर्ट में विचाराधीन है।
ककरैठा में खसरा 731 में रकवा 0.0120 हेक्टेयर में तालाब पर मंदिर व धर्मशाला का निर्माण हो चुका है।
सिकंदरा खसरा 479 में रकवा में 0.0810 हेक्टेयर में पक्के मकान बने हुए हैं। मामला सिविल कोर्ट में विचाराधीन है।
बोदला खसरा 644 में रकवा 0.4610 हेक्टेयर में पंपिंग स्टेशन, पानी की टंकी व अन्य अवैध निर्माण खड़े हुए हैं।
अंगूठी व बुढ़िया का ताल बनेंगे मॉडल
अमृत सरोवर योजना के तहत जिले में 75 तालाबों को अमृत सरोवर के रूप में विकसित किया जाएगा। 69 तालाब चिह्नित हो चुके हैं। इनमें अंगूठी और बुढ़िया का ताल को मॉडल अमृत सरोवर के रूप में तैयार किया जाएगा। दोनों तालाब दो एकड़ से अधिक बड़े हैं।
इन तालाबों के किनारों पर पिकनिक स्पॉट, बेंच, हरियाली होगी। मनरेगा के अतिरिक्त कार्यक्रम प्रभारी मनीष कुमार ने बताया कि दोनों मॉडल तालाबों पर करीब 35-35 लाख रुपये खर्च होंगे, बाकी तालाबों पर 20 से 25 लाख रुपये का खर्च आएगा।
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