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कांग्रेस नेता पी चिदंबरम के बेटे कार्ति चिदंबरम के कई ठिकानों पर सीबीआई ने छापा मारा है। कांग्रेस सांसद कार्ति चिदंबरम पर 250 चीनी नागरिकों से 50 लाख रुपये लेकर 250 चीनी नागरिकों का वीजा बनवाने का आरोप है। बताया जा रहा है कि अपने पिता के केंद्रीय गृहमंत्री रहते कार्ति चिदंबरम ने चीनी कंपनी के लोगों को अपने प्रभाव से वीजा दिलवाया था। कार्ति चिदंबरम पर आरोप है कि उन्होंने कथित रूप से तलवंडी साबो पावर लिमिटेड प्रोजेक्ट के लिए काम कर रहे चीनी इंजीनियर्स से रिश्वत लेकर उनका वीजा इश्यू कराया। वीजा दिलवाने के बदले उनपर 50 लाख रुपए लेने का आरोप है।

सीबीआई ने कार्ति चिदंबरम और उनके सहयोगियों के खिलाफ विभिन्न आपराधिक धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है। इस सिलसिले में सीबीआई ने मंगलवार, 17 मई को देश के कई शहरों में 9 ठिकानों पर छापेमारी की। कार्ति चिदंबरम आईएनएक्स मीडिया के लिए विदेशी निवेश संवर्धन बोर्ड (एफआईपीबी) की मंजूरी पाने के लिए पहले से ही जांच के दायरे में हैं। एयरसेल-मैक्सिस समझौते और विदेशी निवेश सवंर्धन बोर्ड द्वारा आईएनएक्स मीडिया को 305 करोड़ रुपये का विदेशी धन प्राप्त करने की मंजूरी दिलाने से जुड़े कई आपराधिक मामलों में जांच का सामना कर रहे हैं। उन्होंने यह विदेशी धन अपने पिता पी चिदंबरम के वित्त मंत्री रहते प्राप्त किया गया था।

सीबीआई को आईएनएक्स मीडिया मामले से जुड़ी जांच के दौरान वीजा मामले की जानकारी चीनी नागरिकों को पैसे लेकर वीजा जारी करने का मामला इसलिए भी काफी संगीन है क्योंकि यूपीए शासन काल में कांग्रेस और चीन के संबंध काफी संदेहास्पद रहे हैं। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के बेटे का चीनी राजनयिक से गुपचुप मिलना हो या पार्टी का एमओयू पर दस्तखत करना और राजीव गांधी फाउंडेशन को चीनी चंदा मिलना… ये सब जांच के विषय हैं।गलवान घाटी में चीनी सैनिकों के साथ झड़प के बीच इस खुलासा से सनसनी फैल गई थी कि राजीव गांधी फाउंडेशन को दान के नाम पर चीन से काफी ज्यादा वित्तीय मदद मिली थी। कांग्रेस और चीनी कम्युनिस्ट पार्टी के बीच एमओयू के बाद अब यह खबर भी सोशल मीडिया पर ट्रेंड करने लगी थी।

 

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