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आज मां अन्नपूर्णा के दर्शन पाने का आखिरी दिन: जल्द ले लें आशीर्वाद, फिर एक साल बाद मिलेंगे दर्शन

राजराजेश्वर शिव को अन्न की भिक्षा देने वाली मां अन्नपूर्णा की स्वर्णमयी प्रतिमा के दर्शन-पूजन का आज आखिरी दिन है। आज भोर की आरती के बाद से आम श्रद्धालुओं के लिए मां अन्नपूर्णा मंदिर के कपाट खोल दिए गए हैं। दर्शन-पूजन का यह सिलसिला आज रात 11 बजे तक जारी रहेगा। आज मां के दर्शन का आखिरी दिन है। फिर साल भर के बाद ही स्वर्णमयी अन्नपूर्णा के दर्शन होंगे।
बता दें कि मां के दर्शन भत्तों के लिए  23 अक्तूबर की भोर से शुरू हो गए थे। 108 साल बाद कनाडा से काशी आई मां अन्नपूर्णा की प्रतिमा के दर्शन भी भक्तों को मिल रहा है। मां के दर्शन के लिए भक्तों का हुजूम उमड़ा है।

मान्यता है कि काशी नगरी के पालन-पोषण के लिए देवाधिदेव ने मां अन्नपूर्णा से भिक्षा मांगी थी। मंदिर के गर्भगृह में मां अन्नपूर्णा की ममतामयी छवियुक्त ठोस स्वर्ण प्रतिमा कमलासन पर विराजमान और रजत शिल्प में ढले भगवान शिव की झोली में अन्नदान की मुद्रा में हैं। दायीं ओर मां लक्ष्मी और बायीं तरफ  भूदेवी का स्वर्ण विग्रह है। इस दरबार के दर्शन वर्ष में सिर्फ  चार दिन धनतेरस से अन्नकूट तक ही होते हैं।

पहली बार भक्तों को मिल रहा चांदी का सिक्का
मां अन्नपूर्णा के दरबार में पहली बार भक्तों को चांदी का सिक्का प्रसाद के रूप में मिला। जिन भक्तों के हाथ में चांदी का सिक्का आया उन्होंने उसे सिर माथे लगाया। माता के दर्शन के लिए देश भर के कई राज्यों के अलावा पूर्वांचल के कई जिलों से भक्तों ने माता के दरबार में हाजिरी लगाई।

राजराजेश्वर शिव को अन्न की भिक्षा देने वाली मां अन्नपूर्णा की स्वर्णमयी प्रतिमा के दर्शन-पूजन का आज आखिरी दिन है। आज भोर की आरती के बाद से आम श्रद्धालुओं के लिए मां अन्नपूर्णा मंदिर के कपाट खोल दिए गए हैं। दर्शन-पूजन का यह सिलसिला आज रात 11 बजे तक जारी रहेगा। आज मां के दर्शन का आखिरी दिन है। फिर साल भर के बाद ही स्वर्णमयी अन्नपूर्णा के दर्शन होंगे।

बता दें कि मां के दर्शन भत्तों के लिए  23 अक्तूबर की भोर से शुरू हो गए थे। 108 साल बाद कनाडा से काशी आई मां अन्नपूर्णा की प्रतिमा के दर्शन भी भक्तों को मिल रहा है। मां के दर्शन के लिए भक्तों का हुजूम उमड़ा है।