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पराली जलाने की जांच के लिए किसानों को 23,200 मशीनें दी गईं

ट्रिब्यून समाचार सेवा

चंडीगढ़, 15 जनवरी

पराली जलाने की घटनाओं को कम करने के अपने प्रयासों में, कृषि मंत्री कुलदीप सिंह धालीवाल ने रविवार को कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व वाली सरकार ने किसानों, किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ), पंचायतों को 23,200 से अधिक फसल अवशेष प्रबंधन (सीआरएम) मशीनें उपलब्ध कराई हैं। और राज्य में प्राथमिक कृषि समितियों (PACS) ने ‘मौसम के दौरान फसल अवशेषों के इन-सीटू प्रबंधन के लिए कृषि यंत्रीकरण को बढ़ावा’ योजना के तहत।

उन्होंने कहा कि कृषि विभाग के ठोस प्रयासों से पराली जलाने में 30 प्रतिशत की कमी आई है।

मंत्री ने कहा कि इस योजना के तहत 1,13,622 मशीनें उपलब्ध कराई गई हैं। विभाग ने इस योजना के तहत किसानों और कस्टम-हायरिंग केंद्रों को 50 प्रतिशत और 80 प्रतिशत की दर से सब्सिडी देने की भी पेशकश की थी।

उन्होंने कहा कि इस सब्सिडी का लाभ उठाने की प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए सब्सिडी के लिए आवेदन एक ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से मंगाए गए थे।

छोटे और सीमांत किसानों को मशीनरी उपलब्ध कराने के लिए किए जा रहे लगातार प्रयासों पर प्रकाश डालते हुए धालीवाल ने कहा कि विभाग प्रत्येक ब्लॉक में कस्टम हायरिंग सेंटर स्थापित करने की कोशिश कर रहा है, जहां सीआरएम मशीनें विशेष रूप से छोटे और सीमांत किसानों के लिए उपलब्ध होंगी।

उन्होंने कहा कि इसके लिए जिलों को 7.4 करोड़ रुपये उपलब्ध करा दिये गये हैं। विभाग ने सीआरएम मशीनों की बुकिंग के लिए आई-खेत एप को भी बढ़ावा दिया है।