प्रदेश के कद्दावर नेताओं में शुमार पूर्व केंद्रीय मंत्री शिवप्रताप शुक्ला को राज्यपाल बनाकर भाजपा के क्षत्रपों ने लोकसभा चुनाव के पहले बड़ा संदेश दिया है। शिवप्रताप की पैठ ब्राह्मण वर्ग में अच्छी है, उन्हें बड़े ओहदे पर बैठाकर पूर्वांचल के ब्राह्मणों को साधने की कोशिश की गई है।
शिवप्रताप, 50 वर्ष से राजनीति में सक्रिय हैं। उनकी पकड़ भाजपा के अलावा आरएसएस, हिंदू संगठनों में भी है। वहीं, पार्टी के प्रति अपनी निष्ठा, बेदाग छवि से पार्टी शीर्ष नेतृत्व के करीब हैं तो वहीं जनता में भी उनके प्रति रायशुमारी अच्छी है। शिवप्रताप को राज्यपाल बनाए जाने से ब्राह्मण वर्ग में अच्छा संदेश गया है। राजनीतिक विशलेषकों का मानना है कि पूर्वांचल में इसका फायदा जरूर मिलेगा।
हर पार्टी ब्राह्मणों को सहेजने में है जुटी
लोकसभा चुनाव के मद्देनजर इस समय हर पार्टी ब्राह्मणों को साधने में जुटी है। बसपा ने चुनाव में ब्राह्मण वर्ग को सहेजने के लिए सम्मेलन करा रही है। वहीं, सपा भी चुनाव खास तवज्जो देने के मूड में है। पूर्वांचल में ब्राह्मणों के सबसे बड़ा चेहरा पूर्व मंत्री पंडित हरिशंकर तिवारी के बेटे पूर्व विधायक विनय शंकर तिवारी को सपा ने राष्ट्रीय कार्यकारिणी में जगह दी है।
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