देश इस वक्त कोरोना महामारी का सामना कर रहा है। यही वजह है कि स्कूल और कॉलेजों को खोलने को लेकर राज्य सरकारें अपने विवेक से निर्णय ले रही हैं। प्राइमरी स्कूलों को लेकर तो खासतौर पर सोच विचार किया जा रहा है क्योंकि इसमें बहुत कम उम्र के बच्चे आते हैं। इस बीच उत्तर प्रदेश में सरकारी प्राइमरी स्कूलों को खोलने की तारीख तय कर दी गई है। 1 जुलाई से राज्य के सभी प्राथमिक विद्यालय खुलने जा रहे हैं। हालांकि, अभी सिर्फ शिक्षकों और प्राचार्यों को ही स्कूल आना होगा। छात्रों के लिए 1 जुलाई से स्कूल शुरू नहीं होंगे। बेसिक शिक्षा महानिदेशक विजय किरन आनंद द्वारा इस संबंध में आदेश जारी कर दिया गया है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, विजय किरन आनंद ने बताया कि फिलहाल छात्र स्कूल नहीं आएंगे, लेकिन शिक्षकों का 1 जुलाई से स्कूल आना अनिवार्य रहेगा। स्कूल खुलने के दौरान शिक्षक और प्रधानाध्यापक स्कूल में मौजूद रहकर विद्यालय से संबंधित जरूरी कामों को पूरा करेंगे।
उन्होंने बताया कि शिक्षकों को शारदा अभियान के अंतर्गत 6 से 14 साल तक के बच्चों को स्कूलों में प्रवेश करवाना है। इसके अलावा शिक्षकों को दीक्षा ऐप के जरिये अपनी ट्रेनिंग पूरी करनी है। शिक्षकों को छात्रों तक किताबें पहुंचाना और उनके यूनिफॉर्म बनवाने जैसे जरूरी काम भी करवाना हैं।
गौरतलब है कि देशभर में कोरोना संकट के सामने आने के बाद 22 मार्च से ही देशभर में स्कूल, कॉलेज बंद हैं। फिलहाल स्कूलों में छात्रों को नहीं बुलाया गया है। हालांकि यूपी के उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा ने पूर्व में संकेत दिए थे कि 15 अगस्त के बाद ही छात्रों को स्कूल बुलवाने पर विचार किया जाएगा। लेकिन अब तक केंद्र सरकार की ओर से स्कूल, कॉलेज खोलने को लेकर कोई गाइडलाइन जारी नहीं की गई है।
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