रायपुर के नेताजी सुभाष स्टेडियम में छत्तीसगढ़ राज्य लघुवनोपज संघ और आईआईएमआर हैदराबाद के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित तीन दिवसीय मिलेट कार्निवाल के तीसरे दिन आईएचएम के छात्र-छात्राओं द्वारा मिलेट के फायदों पर केंद्रित नुक्कड़ नाटक की प्रस्तुति दी गई। नाटक के परिदृश्य में एक गांव का चित्रण किया गया था, जहां पानी की कमी है और इसी वजह से गांव में अच्छी फसलें नहीं हो पाती, गांव के किसानों के सामने यह बड़ी चुनौती है कि वो ऐसी कौन सी फसल ले सकते हैं, जिसका उत्पादन कम पानी में भी अच्छा हो। इसी बीच गांव में डॉक्टर दीदी आती हैं, सभी ग्रामीण अपनी इस समस्या से उन्हें अवगत कराते हैं और उनसे समाधान पूछते हैं, जिस पर डॉक्टर दीदी बताती हैं कि कोदो, कुटकी, रागी जैसी मिलेट्स की फसलें कम पानी में अच्छी तरह से उगाई जा सकती है, जिसे जानकर ग्रामीण खुश हो जाते हैं और मिलेट की खेती करनी शुरू कर देते हैं।
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