kanpur farmer suicide
– फोटो : अमर उजाला
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कानपुर के चकेरी में किसान बाबू सिंह यादव के खुदकुशी के मामले में भाजपा नेता पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि नेता ने भरोसे का कत्ल किया है। बाबू सिंह को जमीन नानी से मिली थी। एक रिश्तेदार के दखल के बाद मामला कोर्ट चला गया। भाजपा नेता ने मामला का निस्तारण कराने का भरोसा देकर एक वकील के साथ मिलकर उनकी जमीन हड़प ली।
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मृतक पत्नी बिटान ने बताया कि उनके पति की नानी ऊषा देवी का कोई वारिस नहीं था। उन्होंने अहिरवां स्थित 10 बीघे जमीन की वसीयत बाबू सिंह के नाम कर दी थी। ननिहाल पक्ष के एक रिश्तेदार नरेंद्र सिंह ने भी इसी जमीन पर अपना दावा ठोंक कर इसे विवादित कर दिया। जमीन का यह मामला कोर्ट पहुंचा और सालों तक लंबित रहा।
वर्ष 2017 में चकेरी के तकिया झनाका निवासी उनकी ही बिरादरी के एक युवक ने बताया कि वह जिस भाजपा नेता की गाड़ी चलाता है, उनकी ऊपर तक पहुंच है। जमीन को बाबू सिंह के नाम कराने में वे मदद कर सकते हैं। बिटान के मुताबिक पति ज्यादा पढ़े-लिखे न होने के कारण ज्यादा कानूनी दांवपेंच नहीं समझते थे।
जून 2018 को भाजपा नेता ने 6.29 करोड़ में 6.5 बीघा जमीन का एग्रीमेंट करवा लिया और बदले में सिर्फ सात लाख रुपये दिए। आरोप है बीते पांच वर्षों में बाबू सिंह की अनभिज्ञता में भाजपा नेता ने एक वकील (उसे भी 10 बिस्वा जमीन देने का आरोप), अपने चालक व अन्य दो लोगों के साथ मिलकर जमीन पहले बाबू सिंह के नाम चढ़वाई। इसके बाद 18 मार्च को धोखाधड़ी करके जमीन का बैनामा एक अन्य व अधिवक्ता के नाम करवा दिया।
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