Sharad Purnima 2023
– फोटो : अमर उजाला
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वर्ष का अंतिम सूर्यग्रहण और चंद्रग्रहण इसी महीने लगेगा। सूर्यग्रहण भारत में दृश्यमान ना होने के कारण इसका सूतक यहां प्रभावी नहीं होगा। वहीं, शरद पूर्णिमा पर चंद्रग्रहण की छाया पड़ने के कारण इस साल आसमान से अमृत नहीं बरसेगा। सूतक लगने से शरद पूर्णिमा के सभी अनुष्ठान दिन में ही संपन्न होंगे।
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श्री काशी विद्वत कर्मकांड परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष आचार्य अशोक द्विवेदी ने बताया कि सर्वपितृमोक्ष अमावस्या के दिन 14 अक्तूबर को सूर्यग्रहण और शरद पूर्णिमा 28 अक्तूबर को चंद्रग्रहण रहेगा। सूर्यग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा इसलिए इसका सूतक काशी में प्रभावी नहीं होगा। पितृमोक्ष अमावस्या के दिन सभी प्रकार के आयोजन होंगे।
मंदिरों के कपाट हो जाएंगे बंद
आचार्य द्विवेदी ने बताया कि नौ सालों के बाद शरद पूर्णिमा पर चंद्रग्रहण का संयोग बन रहा है जो भारत में दृश्यमान होगा। ऐसे में शरद पूर्णिमा पर पूजा अर्चना सहित अन्य कार्यक्रम दिन में ही आयोजित किए जाएंगे। चंद्रग्रहण मध्यरात्रि में पड़ेगा और इसका सूतक दोपहर बाद से ही प्रारंभ हो जाएगा।
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