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Agra News: एसएन मेडिकल कॉलेज के वार्डों और ओपीडी में घूम रहे कुत्ते, मरीजों पर हमले का खतरा

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आगरा के चौराहों पर ही नहीं अस्पतालों में भी आवारा कुत्तों के हमले का खतरा बना हुआ है। एसएन मेडिकल कॉलेज की इमरजेंसी, ओपीडी, टीबी विभाग, घड़ी वाली इमारत, आठ मंजिला इमारत में कुत्तों को घूमते देखा जा सकता है। एसएन के टीबी विभाग में मरीज के बेड के नीचे बैठे कुत्ते का वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है। जिला अस्पताल का भी यही हाल रहा, ओपीडी, नेत्र रोग, सामान्य वार्ड में कुत्ते बैठे रहते हैं। ये मरीजों पर पहले हमला भी कर चुके हैं। 

इमरजेंसी में खून चाट रहा था कुत्ता 

इमरजेंसी के अंदर भी कुत्ते पहुंच रहे हैं। मंगलवार को ओटी के पास रखे स्ट्रेचर पर लगे खून को कुत्ता चाट रहा था। ये अंदर वार्ड में भी घूमता रहा। बाहर बैठे गार्ड ने रोका नहीं। प्रमुख अधीक्षक डॉ. बृजेश शर्मा ने कहा कि परिसर में कुत्तों को प्रवेश करने से रोकने के लिए गार्ड को हिदायत दी है। स्टाफ को भी चेतावनी दी जाएगी। 

पोषण पुनर्वास केंद्र के गेट पर लगा झुंड 

जिला अस्पताल में पोषण पुनर्वास केंद्र के गेट पर कुत्तों का झुंड लगा रहता है। यहां कुपोषित बच्चे भर्ती होते हैं। कुत्ते अंदर वार्ड में भी पहुंच जाते हैं। इससे मासूमों को खतरा है। मुख्य अधीक्षक डॉ. सीपी सिंह ने कहा कि कुत्तों को रोकने के लिए गार्ड को निर्देशित कर चुके हैं, फिर से हिदायत देंगे।

मरीजों और तीमारदारों पर हमले का खतरा 
मिढ़ाकुर के वीरेंद्र सिंह ने बताया कि अस्पताल में दिखाने आया और बेंच पर बैठा था, इसके नीचे कुत्ता बैठा था। डर के कारण वहां से हटना पड़ा। ये काट भी जाते हैं, इनको भगाने की व्यवस्था होनी चाहिए। ईदगाह निवासी धर्मवती देवी ने कहा कि वार्ड में बच्चे भर्ती हैं और जानवर का क्या भरोसा, खाने-पीने का सामान देखकर यह काट भी सकते हैं। इनसे बचकर वार्ड में जाना पड़ता है।

टूंडला से आए सुल्तान सिंह ने कहा कि एसएन मेडिकल कॉलेज में में कुत्ते-बंदर बहुत हैं जो मरीज के लिए खतरा बने हुए हैं। पलंग के नीचे भी कुत्ते बैठे मिलते हैं। काटने का डर लगता है। बता दें कि सोमवार को शहर में सोमवार को 10 साल की मूकबधिर बच्ची पर कुत्तों ने हमला कर दिया था, जिससे मासूम की मौत हो गई थी। 

विस्तार

आगरा के चौराहों पर ही नहीं अस्पतालों में भी आवारा कुत्तों के हमले का खतरा बना हुआ है। एसएन मेडिकल कॉलेज की इमरजेंसी, ओपीडी, टीबी विभाग, घड़ी वाली इमारत, आठ मंजिला इमारत में कुत्तों को घूमते देखा जा सकता है। एसएन के टीबी विभाग में मरीज के बेड के नीचे बैठे कुत्ते का वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है। जिला अस्पताल का भी यही हाल रहा, ओपीडी, नेत्र रोग, सामान्य वार्ड में कुत्ते बैठे रहते हैं। ये मरीजों पर पहले हमला भी कर चुके हैं। 

इमरजेंसी में खून चाट रहा था कुत्ता 

इमरजेंसी के अंदर भी कुत्ते पहुंच रहे हैं। मंगलवार को ओटी के पास रखे स्ट्रेचर पर लगे खून को कुत्ता चाट रहा था। ये अंदर वार्ड में भी घूमता रहा। बाहर बैठे गार्ड ने रोका नहीं। प्रमुख अधीक्षक डॉ. बृजेश शर्मा ने कहा कि परिसर में कुत्तों को प्रवेश करने से रोकने के लिए गार्ड को हिदायत दी है। स्टाफ को भी चेतावनी दी जाएगी। 

पोषण पुनर्वास केंद्र के गेट पर लगा झुंड 

जिला अस्पताल में पोषण पुनर्वास केंद्र के गेट पर कुत्तों का झुंड लगा रहता है। यहां कुपोषित बच्चे भर्ती होते हैं। कुत्ते अंदर वार्ड में भी पहुंच जाते हैं। इससे मासूमों को खतरा है। मुख्य अधीक्षक डॉ. सीपी सिंह ने कहा कि कुत्तों को रोकने के लिए गार्ड को निर्देशित कर चुके हैं, फिर से हिदायत देंगे।