सरकार ने जीएसटी स्लैब में बदलाव करते हुए 1200 सीसी से ऊपर की पेट्रोल गाड़ियाँ और 1500 सीसी की डीजल गाड़ियों पर टैक्स 40% कर दिया है। यह नियम उन गाड़ियों पर लागू होगा जिनकी लंबाई 4 मीटर से अधिक नहीं है। इस फैसले से किया, क्रेटा, हुंडई, नेक्सॉन सहित कई गाड़ियाँ सस्ती हो जाएंगी।
जीएसटी काउंसिल ने जीएसटी 2.0 लागू करने की घोषणा की है, जिससे ऑटो सेक्टर में हलचल मच गई है। छोटे कार और टू-व्हीलर्स खरीदने वालों के लिए यह राहत की खबर है, साथ ही लग्जरी कार और एसयूवी खरीदने वालों को भी इससे फायदा होगा। 4 मीटर तक की लंबाई और 1200 सीसी तक के इंजन वाली पेट्रोल, सीएनजी, एलपीजी गाड़ियों पर टैक्स में कमी की गई है।
नई व्यवस्था के तहत, 4 मीटर तक की लंबाई वाली गाड़ियाँ, जिनका इंजन 1200cc (पेट्रोल) या 1500cc (डीजल) तक है, अब केवल 18% जीएसटी के दायरे में आएंगी। पहले इन पर 29-31% तक टैक्स लगता था। इससे मारुति ऑल्टो, टाटा पंच, हुंडई ग्रैंड आई10 जैसी गाड़ियाँ सस्ती होंगी।
वहीं, 4 मीटर से लंबी गाड़ियाँ, जिनमें 1200 सीसी से ज्यादा का पेट्रोल इंजन या 1500 सीसी से ज्यादा का डीजल इंजन है, उन्हें लग्जरी गुड्स की श्रेणी में रखा गया है। इन पर 40% जीएसटी लगेगा। इनमें क्रेटा, किआ सेल्टोस, हुंडई अल्कज़ार, टाटा हैरियर, एक्सयूवी700 और इनोवा हाइक्रॉस जैसी लोकप्रिय एसयूवी शामिल हैं।
सरकार ने इंजन क्षमता और लंबाई के साथ-साथ ग्राउंड क्लीयरेंस को भी टैक्स निर्धारण का आधार बनाया है। जिन वाहनों की लंबाई 4 मीटर से ज्यादा, इंजन 1500cc से ऊपर और ग्राउंड क्लीयरेंस 170mm या उससे अधिक है, उन पर भी 40% टैक्स लगेगा।
पहले ऑटो सेक्टर में 28% जीएसटी लगता था और 1% से 22% तक का सेस जोड़ा जाता था। अब सरकार ने दो स्लैब – 5% और 18% रखे हैं, जबकि 40% का एक विशेष स्लैब लग्जरी और सिन गुड्स के लिए निर्धारित किया गया है।
छोटी कारों पर टैक्स कटौती का सीधा असर ग्राहकों पर दिखेगा। अगर किसी कार की कीमत 5 लाख रुपए है, तो वो करीब 62,500 रुपए तक सस्ती हो सकती है। त्योहारों से पहले यह फैसला एंट्री-लेवल खरीदारों के लिए खुशखबरी है। इसी तरह दोपहिया वाहनों में भी 350cc तक इंजन वाली बाइक्स और स्कूटर्स पर टैक्स 28% से घटाकर 18% कर दिया गया है। यानी हीरो स्प्लेंडर, होंडा एक्टिवा और टीवीएस जुपिटर जैसे मॉडल अब और किफायती हो जाएंगे।