फिल्मी दुनिया में कई ऐसे सितारे रहे हैं जिन्होंने अपनी शर्तों पर काम किया। उन्हीं में से एक थीं अभिनेत्री लीला मिश्रा, जिन्हें ‘शोले’ में बसंती की मौसी के रूप में जाना जाता है। 1975 में रिलीज हुई ‘शोले’ में लीला मिश्रा ने 300 से अधिक फिल्मों में काम किया, और खास बात यह रही कि उन्होंने कभी भी सिर से पल्लू नहीं हटाया।
लीला मिश्रा ने 18 साल की उम्र में अभिनय की दुनिया में कदम रखा था, उस समय तक वो दो बच्चों की मां बन चुकी थीं। फिल्मों में काम करने के लिए पहले तो उनके परिवार वाले खिलाफ थे, लेकिन बाद में पति की वजह से सभी मान गए। लीला की शादी 12 साल की उम्र में राम प्रसाद मिश्रा से हुई थी, जिन्होंने कई मूक फिल्मों में चरित्र कलाकार के रूप में काम किया था। राम के मामा ने ही लीला को फिल्मों में काम करने की सलाह दी थी।
लीला और राम ने एक साथ एक ही फिल्म के लिए साइन किया, जिसका नाम ‘सती सुलोचना’ था। इस फिल्म में लीला को 500 रुपये की फीस मिली, जबकि राम को 150 रुपये मिले। लीला जल्द ही दर्शकों के बीच छा गईं। लीला ने फिल्मों में काम करने की शर्त रखी थी कि वो घुंघट नहीं हटाएंगी और किसी भी अभिनेता के साथ रोमांटिक रोल नहीं करेंगी। उनकी इन शर्तों को स्वीकार किया गया और उन्होंने कई फिल्में कीं।
18 साल की उम्र में उन्होंने फिल्म ‘होनहार’ में हीरो की मां का रोल निभाया, जिससे उन्हें रातों-रात प्रसिद्धि मिली। ऐसा कहा जाता है कि उन्हें देखकर कई फिल्मों के किरदार लिखे गए। ‘शोले’ में भी, कम स्क्रीन टाइम के बावजूद, उन्हें दर्शकों ने खूब पसंद किया। 80 साल की उम्र में दिल का दौरा पड़ने से उनका निधन हो गया, लेकिन आज भी उनका नाम फिल्म जगत में जिंदा है।