बिहार विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस ने आखिरकार अपनी पहली सूची जारी कर दी है। गुरुवार देर रात घोषित इस सूची में 48 उम्मीदवारों के नाम शामिल हैं। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष राजेश राम औरंगाबाद जिले की कुटुम्बा सीट से चुनाव लड़ेंगे, वहीं वरिष्ठ नेता शकील अहमद कटिहार जिले की कदवा सीट से ताल ठोकेंगे।
कांग्रेस की इस सूची में पांच महिला उम्मीदवारों और चार मुस्लिम चेहरों को मौका दिया गया है। खास बात यह है कि 11 मौजूदा विधायकों को एक बार फिर टिकट दिया गया है। इनमें भागलपुर, कदवा, मनिहारी (कटिहार), मुजफ्फरपुर, राजापाकर (वैशाली), बक्सर, राजपुर (बक्सर), कुटुम्बा, कारगहर (औरंगाबाद), हिसुआ (नवादा) और औरंगाबाद के विधायक शामिल हैं।
हालांकि, खगड़िया जिले से मौजूदा विधायक छत्रपति यादव का टिकट कट गया है। उनकी जगह चंदन यादव को उम्मीदवार बनाया गया है, जो पहले बेलदौर से हार का सामना कर चुके हैं। आधिकारिक घोषणा से पहले ही 18 उम्मीदवारों को पार्टी सिंबल मिल चुके थे।
**पटना एयरपोर्ट पर हंगामे की स्थिति**
दिल्ली से लौटने पर पार्टी नेताओं राजेश राम, कृष्ण अलगरू और शकील अहमद के साथ पटना एयरपोर्ट पर बुधवार को कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने जमकर हंगामा किया। टिकट बंटवारे से नाराज कार्यकर्ता नेताओं से भिड़ गए। इस दौरान नेताओं को भारी सुरक्षा के बीच अपनी गाड़ी में बैठना पड़ा।
मुख्य हंगामा बिक्रम विधानसभा सीट को लेकर हुआ। वर्षों से तैयारी कर रहे डॉ. अशोक आनंद की जगह अनिल शर्मा को टिकट दिए जाने से कार्यकर्ता भड़के हुए थे। समर्थकों ने टिकटों की बिक्री का आरोप लगाया और कहा कि पांच करोड़ रुपये में टिकट बेचा गया। वायरल हुए वीडियो में कार्यकर्ताओं को धक्का-मुक्की करते और नेताओं को घेरते देखा जा सकता है। शकील अहमद को भी मुश्किल से गाड़ी तक पहुंचने में मदद करनी पड़ी। पप्पू यादव के समर्थकों के साथ भी झड़प की खबरें सामने आईं।
**कांग्रेस की चुनावी रणनीति और सीट बंटवारा**
2020 के पिछले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने 70 सीटों पर चुनाव लड़ा था और केवल 19 सीटें ही जीत पाई थी। उस वक्त पार्टी का स्ट्राइक रेट सिर्फ 27 फीसदी था। उस समय कांग्रेस ने अपने सहयोगी दल राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) पर कमजोर सीटें आवंटित करने का आरोप लगाया था। इस बार, कांग्रेस ने हर सीट पर जातिगत समीकरण, सामाजिक ताना-बाना, पिछले चुनाव के नतीजे और उम्मीदवार की मजबूती का गहन विश्लेषण करने के बाद ही उम्मीदवारों के नाम तय किए हैं।
INDIA गठबंधन (आरजेडी, कांग्रेस और वाम दल) के बीच सीट बंटवारा कांग्रेस के लिए एक बड़ी चुनौती रही है। लालू प्रसाद यादव के प्रभाव को कम करने के लिए नेतृत्व में बदलाव भी किए गए। अखिलेश प्रसाद सिंह की जगह राजेश राम को प्रदेश अध्यक्ष बनाया गया। राहुल गांधी ने कृष्ण अलगरू को बिहार का प्रभारी नियुक्त किया और ‘वोटर राइट्स यात्रा’ के जरिए अपनी उपस्थिति मजबूत की।
**चुनाव की तारीखें**
बिहार में पहले चरण का मतदान 6 नवंबर से शुरू हो रहा है। कांग्रेस की इस उम्मीदवार सूची में अनुभवी नेताओं, नए चेहरों और रणनीतिक रूप से चुनी गई सीटों का मिश्रण है, जिसका लक्ष्य आगामी चुनावों में पार्टी के प्रदर्शन को बेहतर बनाना है।