शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने घोषणा की है कि वे बिहार विधानसभा चुनावों में उन निर्दलीय उम्मीदवारों का समर्थन करेंगे जो गोहत्या के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए प्रतिबद्ध होंगे। पूर्णिया में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने बिहार में चुनाव से पहले सनातनी राजनीति की शुरुआत की है, जिसके तहत गौ मतदाता संकल्प यात्रा निकाली गई।
शंकराचार्य ने कहा कि कई दशकों के आश्वासनों के बावजूद, कोई भी पार्टी गोहत्या के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए प्रतिबद्ध नहीं रही है। उन्होंने कहा, “बिहार चुनावों में, हम गोरक्षा और सनातन धर्म के लिए वोट करेंगे। 78-79 वर्षों और कई आश्वासनों के बाद भी, किसी भी पार्टी ने गोहत्या के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए प्रतिबद्धता नहीं दिखाई है।” उन्होंने यह भी कहा कि वे राज्य चुनावों में निर्दलीय उम्मीदवारों का समर्थन करेंगे, लेकिन अभी नामों का खुलासा नहीं किया जाएगा।
उन्होंने कहा, “हम आगामी चुनावों में सभी 243 सीटों पर उम्मीदवार उतारेंगे। मैं अभी उनके नामों का खुलासा नहीं करूंगा, क्योंकि अगर मैंने ऐसा किया, तो उनकी उम्मीदवारी रद्द हो सकती है।” यह टिप्पणी शंकराचार्य द्वारा बिहार में ‘गौ रक्षा संकल्प यात्रा’ शुरू करने की घोषणा के एक दिन बाद आई है। उन्होंने राजनीतिक दलों की भी आलोचना की और कहा कि गायों पर अत्याचार बढ़ रहे हैं और इस दिशा में कोई कदम नहीं उठाया गया है।
उन्होंने कहा, “गौ माता पर अत्याचार बढ़ रहे हैं। हमने एक के बाद एक पार्टियों को सत्ता में लाया, लेकिन इस दिशा में कोई कदम नहीं उठाया गया। अब, हम मतदाताओं से सीधे अपील करेंगे कि वे केवल उन्हीं उम्मीदवारों को वोट दें जो गौहत्या को पाप मानते हैं और इस देश के हिंदुओं की व्यापक भावनाओं के अनुरूप गौ रक्षा के लिए काम करते हैं।” उन्होंने यह भी दावा किया कि देश में गोमांस का निर्यात दिन-प्रतिदिन बढ़ रहा है, भले ही भाजपा के नेतृत्व वाली एनडीए सरकार सत्ता में हो। उन्होंने कहा, “केंद्र सरकार को इस संबंध में सक्रिय कदम उठाने चाहिए। जब गोहत्या में लगी कंपनियां राजनीतिक दलों को चंदा देती हैं, तो उनसे ज्यादा उम्मीद नहीं की जा सकती। इस मोर्चे पर हमें राजनेताओं से ज्यादा उम्मीद नहीं है।”
शंकराचार्य ने कहा कि पश्चिम यूपी मिनी पाकिस्तान बन गया है, अगर नहीं बना है तो रामभद्राचार्य जी झूठ बोल रहे हैं और अगर सही में बन रहा है तो चिंताजनक है।