झारखंड राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग के माननीय सदस्य श्री उज्ज्वल प्रकाश तिवारी ने 17 एवं 18 अगस्त को चतरा जिले का दौरा किया। दो दिवसीय दौरे के दौरान उन्होंने जिले में बाल अधिकारों एवं संरक्षण से जुड़े विभिन्न पहलुओं का निरीक्षण किया तथा संबंधित विभागों की समीक्षा बैठक कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
दौरे के प्रथम दिन श्री तिवारी ने इटखोरी मंदिर में पूजा-अर्चना करने के बाद नगर भ्रमण किया। इस क्रम में उन्होंने हंटरगंज प्रखंड के खनन क्षेत्र का भी निरीक्षण किया, जहाँ बाल श्रम में संलिप्त पाए जाने वाले बच्चों की स्थिति का जायजा लिया। वहीं दूसरे दिन समाहरणालय सभागार में आयोजित समीक्षा बैठक में सामाजिक सुरक्षा कोषांग, जिला बाल संरक्षण इकाई, बाल कल्याण समिति, शिक्षा, स्वास्थ्य, खनन, कल्याण, समाज कल्याण, पंचायती राज, नगर परिषद एवं परिवहन विभाग सहित बाल संरक्षण से संबंधित अन्य विभागों के पदाधिकारी उपस्थित रहे। बैठक में विभागों के कार्यों की समीक्षा की गई और बच्चों की सुरक्षा एवं अधिकारों को लेकर ठोस कदम उठाने की आवश्यकता पर बल दिया गया।बैठक को संबोधित करते हुए श्री तिवारी ने कहा कि जिले में नाबालिग बच्चों (18 वर्ष से कम आयु) द्वारा ट्रक, ट्रैक्टर एवं भारी वाहनों के संचालन पर रोक लगाने के लिए विशेष अभियान चलाया जाए।बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित करने हेतु प्रमुख स्थानों पर बस पड़ाव का निर्माण किया जाए। सभी निजी विद्यालयों का अनिवार्य पंजीकरण कराया जाए। विद्यालय छोड़ चुके बच्चों (ड्रॉप-आउट) को चिन्हित कर पुनः शिक्षा से जोड़ा जाए। चतरा को फ्री ब्लड डोनर जोन घोषित करने की दिशा में ठोस पहल की जाए। जिले के सभी थानों को बाल-मैत्रीपूर्ण थाना के रूप में विकसित किया जाए। बाल श्रम उन्मूलन के लिए 15 15 दिनों पर विशेष अभियान चलाया जाए। शिविर आयोजित कर दिव्यांग बच्चों की पहचान कर उन्हें पेंशन योजना का लाभ उपलब्ध कराया जाए। दत्तक ग्रहण प्रक्रिया को सरल बनाया जाए तथा पंचायत एवं शहरी क्षेत्रों में शिकायत पेटी लगाई जाए।
श्री तिवारी ने कहा बाल संरक्षण से जुड़े मुद्दों पर सभी विभाग आपसी समन्वय के साथ कार्य करें, ताकि बच्चों की सुरक्षा और उनके सर्वांगीण विकास को सुनिश्चित किया जा सके।
उन्होंने उपायुक्त एवं पुलिस अधीक्षक से भी अलग-अलग मुलाकात कर बालक-बालिका गृह तथा बाल संरक्षण संबंधी गतिविधियों पर विशेष ध्यान देने एवं पुलिस विभाग से अपेक्षित सहयोग सुनिश्चित करने पर चर्चा की।
इस अवसर पर उप विकास आयुक्त एवं विभिन्न विभागों के वरीय पदाधिकारी, बाल कल्याण समिति एवं बाल संरक्षण इकाई के प्रतिनिधिगण उपस्थित थे。