हैदराबाद: ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने दिल्ली धमाके के आरोपी डॉ. उमर नबी के एक वायरल वीडियो की कड़ी निंदा की है। इस वीडियो में उमर नबी आत्मघाती हमलों को ‘शहादत’ बता रहे हैं। ओवैसी ने इस तरह के कृत्यों को आतंकवाद करार दिया और कहा कि आतंकवाद को किसी भी धर्म या मजहब के चश्मे से नहीं देखा जा सकता। उन्होंने कहा, ‘यह आतंकवाद है और कुछ नहीं।’

दिल्ली में हुए कार धमाके के आरोपी उमर नबी का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। इस वीडियो में उमर नबी आत्मघाती हमलों के बारे में बात करते हुए सुनाई दे रहे हैं, जिसे वे ‘शहादत ऑपरेशन’ बता रहे हैं। उनका कहना है कि यह इस्लाम में एक गलत समझी जाने वाली अवधारणा है। ओवैसी ने उमर नबी के दावों को खारिज करते हुए जोर देकर कहा कि इस्लाम में आत्महत्या सख्त मना है और निर्दोष लोगों की हत्या एक घोर पाप है। उन्होंने स्पष्ट किया कि ऐसे कृत्य आतंकवाद की श्रेणी में आते हैं और इनकी कोई धार्मिक व्याख्या नहीं हो सकती।
ओवैसी ने इस मॉड्यूल के उद्भव पर भी गंभीर चिंता जताई। उन्होंने केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह द्वारा संसद में दिए गए बयान का हवाला देते हुए सवाल उठाया कि अगर पिछले छह महीनों में कोई कश्मीरी युवक आतंकी समूहों में शामिल नहीं हुआ, तो यह नया मॉड्यूल कहां से आया? उन्होंने सुरक्षा एजेंसियों की विफलता पर भी सवालिया निशान लगाया।
उमर नबी की यह टिप्पणी दिल्ली में हुए एक भीषण कार धमाके के बाद सामने आई है। 10 नवंबर को लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास एक हुंडई आई20 कार में हुए धमाके में 13 लोगों की मौत हो गई थी और 20 से अधिक घायल हो गए थे। जांच में पता चला कि उमर नबी फरीदाबाद में बरामद हथियारों और विस्फोटक सामग्री से भी जुड़ा था। सुरक्षा एजेंसियां मान रही हैं कि वह डॉक्टरों सहित उच्च शिक्षित व्यक्तियों वाले एक नए आतंकी मॉड्यूल का हिस्सा था। सुरक्षा विशेषज्ञों ने वायरल वीडियो में उमर नबी की धाराप्रवाह अंग्रेजी और शांत स्वभाव को आतंकवाद के एक नए और चिंताजनक चेहरे के रूप में वर्णित किया है।
यह घटना दिल्ली में आतंकवाद के बढ़ते खतरे की ओर इशारा करती है, जहां अब शिक्षित युवा भी इसके जाल में फंस रहे हैं। इस घटना ने सुरक्षा एजेंसियों के लिए एक बड़ी चुनौती पेश की है।






