नई दिल्ली: आगामी दीपावली 2025 के मद्देनज़र, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशवासियों से भारतीय निर्मित उत्पादों को खरीदने और 140 करोड़ भारतीयों की कड़ी मेहनत, रचनात्मकता और नवाचार का जश्न मनाने का आग्रह किया है। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट में, मोदी ने ‘गर्व से कहो यह स्वदेशी है’ (Say proudly, this is indigenous) के नारे को प्रमुखता से दोहराते हुए स्थानीय खरीद के महत्व पर जोर दिया।
‘वोकल फॉर लोकल’ अभियान को बढ़ावा
प्रधानमंत्री मोदी का यह संदेश सरकार के ‘वोकल फॉर लोकल’ अभियान को और मजबूत करता है। इस अभियान का मुख्य उद्देश्य स्वदेशी उत्पादों को बढ़ावा देना, छोटे व्यवसायों को सशक्त बनाना और भारत की आर्थिक आत्मनिर्भरता को मजबूत करना है। यह पहल नागरिकों को स्थानीय कारीगरों, बुनकरों और उद्यमियों को फलने-फूलने में मदद करने के लिए घरेलू स्तर पर निर्मित वस्तुओं को प्राथमिकता देने के लिए प्रोत्साहित करती है।
पीएम मोदी ने लोगों से अपनी खरीद के बारे में सोशल मीडिया पर साझा करने का भी अनुरोध किया। उन्होंने कहा, “आप जो खरीदें, उसे सोशल मीडिया पर साझा भी करें। इससे आप दूसरों को भी ऐसा करने के लिए प्रेरित करेंगे।”
बॉलीवुड सितारों का समर्थन
कई प्रमुख बॉलीवुड और टेलीविजन हस्तियों ने ‘वोकल फॉर लोकल’ अभियान को बढ़ावा देने के लिए एक साथ कदम बढ़ाया है। माधुरी दीक्षित, वरुण धवन, तृप्ति डिमरी, सुनील ग्रोवर, रूपाली गांगुली और शंकर महादेवन जैसे सितारों की विशेष वीडियो जारी की गई है, जिसमें स्थानीय व्यवसायों का समर्थन करने के महत्व पर प्रकाश डाला गया है।
अभिनेत्री तृप्ति डिमरी ने राजस्थान के जोधपुर में एक स्थानीय जूते की दुकान का प्रदर्शन किया, स्थानीय रूप से खरीदारी के व्यक्तिगत जुड़ाव और आकर्षण पर जोर दिया। माधुरी दीक्षित ने देहरादून में एक प्रकाश व्यवसाय को उजागर किया और त्योहारी एकता के उल्लास को फैलाने के लिए सभी से अपनी स्थानीय दुकानों का समर्थन करने का आग्रह किया। रूपाली गांगुली ने साड़ियों के प्रति अपने प्रेम को व्यक्त किया और कोलकाता की एक दुकान से साड़ी खरीदने के लिए लोगों को प्रोत्साहित किया, जिससे स्थानीय कारीगरों और पारंपरिक शिल्प कौशल को बढ़ावा मिला।
विशेषज्ञों का महत्व
कॉमेडियन सुनील ग्रोवर और गायक-संगीतकार शंकर महादेवन ने भी इस अभियान में अपनी आवाज दी है, खासकर त्योहारों के समय समाज में छोटे विक्रेताओं की महत्वपूर्ण भूमिका की सराहना की है। उनकी भागीदारी ने संदेश को बढ़ाने और व्यापक जन भागीदारी को प्रोत्साहित करने में मदद की है।
अभियान का प्रभाव
लाखों भारतीय दीपावली समारोहों की तैयारी कर रहे हैं, इस अभियान का उद्देश्य उपभोक्ताओं की पसंद को घरेलू उत्पादों की ओर मोड़ना है, जिससे भारत के आर्थिक विकास और सांस्कृतिक गौरव को बढ़ावा मिले। ‘गर्व से कहो यह स्वदेशी है’ पर जोर न केवल स्थानीय उद्यमिता की भावना का जश्न मनाता है, बल्कि पूरे राष्ट्र में एकता और आत्मनिर्भरता की भावना को भी बढ़ावा देता है।