भारतीय क्रिकेट टीम में तेज गेंदबाजी का स्तर पिछले 8-10 सालों में काफी बदला है, और इस बदलाव में जसप्रीत बुमराह सबसे बड़े चेहरे बनकर उभरे हैं। टेस्ट क्रिकेट में बुमराह के आने से टीम इंडिया बेहद मजबूत हो गई। बुमराह और मोहम्मद शमी जैसे गेंदबाजों के साथ इशांत शर्मा ने भी भारतीय गेंदबाजी को धार दी और अनुभव प्रदान किया। लंबे कद के इशांत शर्मा ने इंटरनेशनल क्रिकेट में शानदार शुरुआत की और कई सालों के अनुभव के बाद टीम इंडिया की गेंदबाजी को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया। 2 सितंबर को 37 साल के होने वाले इशांत का करियर जितना खास रहा, उतना ही दिलचस्प उनका बचपन भी रहा।
इशांत शर्मा का ताल्लुक पश्चिमी दिल्ली से है, जहां से वीरेंद्र सहवाग, विराट कोहली और शिखर धवन जैसे कई बड़े क्रिकेटर निकले। इशांत भी उन्हीं में से एक हैं जिन्होंने टीम इंडिया में जगह बनाई। इशांत की परवरिश भी मिडिल क्लास फैमिली में हुई, लेकिन उन्होंने घरेलू क्रिकेट में संघर्ष करते हुए इंटरनेशनल क्रिकेट में अपनी पहचान बनाई।
इशांत शर्मा के करियर के बारे में तो फैंस जानते हैं, लेकिन उनके बचपन के बारे में कम ही लोग जानते हैं। इशांत को भी अपने माता-पिता की सख्ती का सामना करना पड़ा था, ताकि वे पढ़ाई या खेल पर ध्यान दे सकें। एक इंटरव्यू में इशांत ने बताया कि एक बार उनके पिता ने बिना किसी बात के उनकी डंडे से पिटाई कर दी थी।
क्रिकबज के इंटरव्यू में इशांत ने अपनी पत्नी प्रतिमा और माता-पिता के साथ बैठे हुए इस घटना को याद किया। उन्होंने बताया कि जब वे घर में घुसे तो उनके पिता ने बिना किसी कारण के उनकी पिटाई शुरू कर दी। इशांत ने बताया कि उनकी बहन की भी पिटाई हुई थी। इशांत के पिता ने इस घटना पर हैरानी जताई और कहा कि उन्होंने जरूर कुछ किया होगा जिसके कारण पिटाई हुई होगी। हालांकि, इशांत को आज तक समझ नहीं आया कि उनकी पिटाई क्यों हुई थी।
इशांत के परिवार ने उनके क्रिकेटर बनने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। उनके पिता भी बचपन में क्रिकेट के शौकीन थे और अपने मोहल्ले के सबसे तेज गेंदबाजों में से एक थे। इशांत ने 2007 में टेस्ट क्रिकेट से इंटरनेशनल डेब्यू किया और तीनों फॉर्मेट में अपनी जगह बनाई। उन्होंने टीम इंडिया के लिए 105 टेस्ट में 311 विकेट, 80 वनडे में 115 विकेट और 14 टी20 में 8 विकेट लिए हैं।