बांग्लादेश निर्वाचन आयोग ने अपनी सूची से कमल चुनाव चिन्ह को हटा दिया है, जिससे देश की राजनीतिक सरगर्मी बढ़ गई है। एनसीपी के नाहिद इस्लाम इस चुनाव चिन्ह को हासिल करना चाहते थे। बांग्लादेश में फरवरी 2026 में शेख हसीना के तख्तापलट के बाद आम चुनाव प्रस्तावित हैं। 1971 में गठित बांग्लादेश में आखिरी बार 2021 में आम चुनाव हुए थे, जिसमें शेख हसीना की पार्टी ने जीत हासिल की थी।
शेख हसीना के तख्तापलट के बाद, जुलाई आंदोलन के विद्रोहियों ने नेशनल सीटिजन पार्टी की स्थापना की, जिसमें नाहिद इस्लाम को अध्यक्ष बनाया गया। पार्टी के पंजीकरण के दौरान चुनाव आयोग से कमल चिन्ह की मांग की गई थी, जिसे अब आयोग ने सूची से हटा दिया है। आयोग का कहना है कि कमल चुनाव चिन्ह लिस्ट में नहीं है।
वहीं, नाहिद इस्लाम की पार्टी ने आयोग को धमकी दी है कि वे इस फैसले को सहन नहीं करेंगे। बांग्लादेश में कमल राष्ट्रीय फूल है और आजादी के अभियान में इसका प्रचार हुआ था। नाहिद और उनकी पार्टी इस चिन्ह को हासिल कर राष्ट्रवादी पार्टी घोषित करना चाहते थे।