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सरकार प्रदेश के 12 मंत्रियों के साथ काम करने के लिए जल्द ही 12 संसदीय सचिवों की नियुक्ति करेगी

इस महत्वपूर्ण पद पर दो बार के अनुभवी विधायकों के साथ एक बार के तेज तर्रार विधायकों को भी मौका दिया गया है। पार्टी आलाकमान ने नामों की सूची फाइनल कर दी है। संसदीय सचिवों के नामों की घोषणा एक-दो दिन में तथा पद और गोपनीयता की शपथ इसी हफ्ते लेंगे। बताया गया है कि संसदीय सचिव पद पर उन क्षेत्रों के विधायकों को महत्व दिया गया है जिन जिले या संभागों का सरकार में प्रतिनिधित्व नहीं है। यानी जिन जिलों में मंत्री नहीं हैं या कम हैं वहां के विधायकों को इस पद पर महत्व दिया गया है। वर्तमान में मंत्रिमंडल के सदस्यों पर नजर डालें तो दुर्ग, सरगुजा, कवर्धा, रायगढ़, कोरबा, रायपुर और बस्तर जिले के नेताओं को महत्व दिया गया है। यानी कि शेष बचे जिलों के नेता ही संसदीय सचिव बनाए गए हैं। उल्लेखनीय है कि हाल ही में सीएम हाउस में हुई बैठक के दाैरान सीएम भूपेश बघेल, स्पीकर डा.चरणदास महंत, पीसीसी चीफ मोहन मरकाम और वरिष्ठ मंत्रियों के बीच लगभग छह घंटे की बैठक के बाद संसदीय सचिवाें और निगम-मंडल आयाेगों के नाम तय किए गए थे। सभी चयनित नामों को पार्टी आलाकमान के पास अप्रुवल के लिए भेजा गया था। जातिगत समीकरण तथा क्षेत्रीय संतुलन को ध्यान में रखकर सूची तैयार की गई है।  वैसे यह भी कहा जा रहा है कि पहले निगम मंडलों में नियुक्तियां की जाएंगी। 
सीएम संसदीय सचिव रखेंगे या नहीं अभी तय नहीं
सूत्रों का कहना है कि कांग्रेस सरकार 12 संसदीय सचिव बना रही है। लेकिन मुख्यमंत्री भूपेश बघेल अपने अधीन संसदीय सचिव रखेंगे कि नहीं यह अभी तय नहीं है। वहीं यह भी माना जा रहा है कि संसदीय सचिव बनाए जाने के बाद विभागीय कामकाज में तेजी भी आएगी। 
मंत्रालय में तैयार हो रहे कमरे
दूसरी ओर मंत्रालय अधीक्षण शाखा इन संसदीय सचिवों के लिए महानदी भवन में कक्ष तैयार करने में जुट गया है। पिछली व्यवस्था के तहत इनके लिए मंत्रालय के पहले 4 फ्लोर में कमरे सुरक्षित हैं। इनका आबंटन पसंद अनुसार किया जाएगा। वहीं नए संसदीय सचिवों के लिए मोटर गैरेज के पास गाड़ियां नहीं हैं। नई खरीदी के लिए सीएम से विशेष अनुमति लेनी होगी क्योंकि वित्त विभाग ने कोरोना के कारण खरीदी पर रोक लगाई है।

22 निगम-मंडल आयोगों में नियुक्तियां भी जल्द
संसदीय सचिवों की नियुक्ति के बाद सरकार निगम-मंडल और आयोगों में नियुक्तियां करेंगी। पहले चरण में राज्य के 20 से 22 निगम,मंडल और आयोगों में नियुक्तियां की जाएंगी। बताया गया है कि इनमें अध्यक्ष, उपाध्यक्ष के साथ सदस्य भी बनाए जाएंगे। इनमें भी 15 साल संघर्ष में साथ निभाने वाले नेताओं को महत्व दिया गया है।