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बढ़ते प्रदूषण पर पड़ताल: ताजनगरी में पांच दिन से जहरीली हवा, योजनाएं विफल, ट्रक रोके न निर्माण कार्य बंद किए

ताजनगरी मंगलवार को देश की दूसरी प्रदूषित शहर रही। पांच दिनों से शहर की हवा में खतरनाक स्तर पर जहर घुला हुआ है, लेकिन ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान के मुताबिक न शहर के अंदर भारी वाहनों, ट्रकों का आना बंद किया गया, न ही धूल उड़ाने वाले निर्माण कार्यों पर रोक लगाई गई।टीम ने पड़ताल की तो पाया शहर में जहां निर्माण कार्य चल रहे हैं, वहां न पानी का छिड़काव किया गया है, न ही काम पूरा होने के बाद खोदी सड़कों का निर्माण हुआ। धूल के गुबार के बीच लोगों का सांस लेना दूभर है। एक्शन प्लान के मुताबिक कदम न उठाने के कारण शहर का एयर क्वालिटी इंडेक्स खतरनाक स्तर 472 पर पहुंच गया।

जीवनी मंडी रोड : एक किमी तक टूटी सड़क पर धूल के गुबार

डेढ़ साल पहले आगरा स्मार्ट सिटी ने पानी की पाइपलाइन बिछाने के लिए जीवनी मंडी रोड पर वाटरवर्क्स से पुरानी मंडी चौराहे तक खोदाई की, लेकिन सड़क बनाने का काम अब तक शुरू नहीं किया। एक किमी लंबी टूटी सड़क पर मंगलवार को धूल के गुबार दिखे। इस सड़क पर भारी वाहनों का लोड है। जीवनी मंडी, यमुना किनारा रोड पर प्रदूषण के कारण लोगों का सांस लेना दूभर हो गया।

दुकान पर बैठना दुश्वार

सड़क टूटी होने से जाम भी लगा रहता है, जिससे वाहनों का धुआं अधिक निकलता है। दुकान पर बैठना दुश्वार हो गया है। आंखों में जलन होने और गले में खराश की परेशानी हो रही है। दो-तीन दिन से हालत ज्यादा खराब हो रही है। – रवि शर्मा, दुकानदार

आईएसबीटी : धूल की मोटी परत हुई जमा

गैलाना मोड़ पर संकरी सर्विस लेन पर गड्ढे होने के कारण धीमे चलते भारी वाहनों का दक्षिणांचल तक जाम लगता है। दूसरी ओर की सर्विस लेन पर खंदारी तक फंसे वाहनों का जाम, उस पर फ्लाईओवर निर्माण में उड़ती मिट्टी के कारण पूरे ट्रांसपोर्ट नगर में धूल के गुबार हैं। टीपी नगर की दुकानों के सामने खड़े वाहनों और पेड़ों पर धूल की मोटी परत जमा है। यहां पानी का छिड़काव होते किसी ने लंबे समय से देखा ही नहीं।

लगता है दम घुट जाएगा

पुल के कारण धूल और ट्रैफिक जाम से सांस लेना मुश्किल है। अब हालात और विकट हो गए हैं। दिवाली के बाद से लगता है दम घुट जाएगा। – दीपू शर्मा, निर्भय नगर

मानकों के तहत काम

फ्लाईओवर के पास क्या स्थिति है, अभी कुछ नहीं बता सकता। आपने बताया है तो कल मौके पर स्थिति दिखवाऊंगा। मानकों के तहत काम किया जा रहा है। – वीके जोशी, परियोजना निदेशक, एनएचएआई

शाहजहां पार्क रोड : डीजल जनरेटर से पत्थरों की घिसाई

ताजमहल और आगरा किला के बीच हरे भरे शाहजहां पार्क के सामने आगरा स्मार्ट सिटी के तहत बनाए गए फुटपाथ पर पत्थरों की घिसाई का काम जारी है। पत्थरों की घिसाई से लाल पत्थर के कण पूरे वातावरण में घुल रहे हैं। डीजल जनरेटर पर प्रतिबंध है फिर भी उससे मशीन चलाई जा रही है। इस 100 फुट चौड़ी सड़क से पैदल निकलने वाले पर्यटक दिनभर परेशान रहे। धूल नियंत्रण के लिए पानी का छिड़काव भी नहीं किया जा रहा था।

सांस लेने में भी परेशानी

पानी का छिड़काव नहीं होता। धूल उड़ने से सांस लेने में दिक्कत होती है। मेट्रो के कारण पुरानी मंडी चौराहे पर दिनभर धूल उड़ती है। कोई नियम-कायदे नहीं रहे हैं। – रवि राठौर, ताजगंज

मारुति एस्टेट : एक साल पहले खोदीं सड़कें, धूल से जीना दूभर

यह एक क्षेत्र ऐसा है जहां एक सड़क दो बार खोदी गई है। जलनिगम की गंगाजल इकाई ने पानी और निर्माण इकाई ने सीवर लाइन के लिए सड़कों को एक साल पहले खोदा था, पर निर्माण अब तक नहीं किया। पानी का छिड़काव होते एक साल में यहां किसी ने नहीं देखा। सड़कों में गिट्टियां न बिछाई गई, न ऊबड़-खाबड़ रोड ठीक किया गया। गहरे गड्ढों में फंसकर जाम और धूल के गुबार झेलना लोगों की नियति बन गई है।

सालभर से परेशान

दिवाली क्या, हम तो एक साल से धूल के गुबार से परेशान हैं। कोई सुनने वाला नहीं, दर्जनों बार शिकायतें कर चुके। घर में कोई ऐसा सदस्य नहीं जो सांस रोग से परेशान न हो। – विनीत कुमार, मारुति एस्टेट

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